Himachal News: अपना आविष्कार अपनी प्रोपर्टी, सरकार ने बनाई इंटेलेक्चुअल प्रॉपर्टी राइट्स देने के लिए नीति ddnewsportal.com
Himachal News: अपना आविष्कार अपनी प्रोपर्टी, सरकार ने बनाई इंटेलेक्चुअल प्रॉपर्टी राइट्स देने के लिए नीति
अब अपनी संपत्ति बनाते हुए पेटेंट करवा सकते अपनी रिसर्च, अधिसूचना जारी
हिमाचल प्रदेश के शोधकर्ताओं के लिए अच्छी खबर है। राज्य के वे लोग जो अपनी रिसर्च कर रहे हैं या नया आविष्कार कर रहे हैं, वे इसे अपनी संपत्ति बनाते हुए इसे पेटेंट करवा सकते हैं। प्रदेश के ऐसे लोगों को सरकार ने इंटेलेक्चुअल प्रॉपर्टी राइट्स देने के लिए नीति बनाई है, जिसे अधिसूचित कर दिया गया है। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग ने इसको लेकर मंगलवार को अधिसूचना भी जारी की, जिसके तहत लोग पेटेंट करवाने के लिए प्रयास कर सकते हैं। इस नीति और इसके नियमों को लेकर विज्ञान एवं प्रोद्योगिकी विभाग लोगों को जागरूक करेगा।
जानकारी के मुताबिक प्रदेश में जो ऐसे संस्थान हैं, जहां पर रिसर्च वर्क किया जाता है, वहां पर ऐसे लोगों को जागरूक किया जाएगा। उन्हें बताया जाएगा कि वेे अपनी रिसर्च, जो किसी से अलग हो, को पेटेंट करवा सकते है। पहली बार हिमाचल प्रदेश में इस तरह की नीति अधिसूचित की गई है। एक विशेष अभियान इस नीति के प्रचार के लिए चलाया जाएगा। रिसर्च एंड डिवेलपमेंट, साइंस एंड टेक्रोलॉजी इंस्टीच्यूट्स, विश्वविद्यालयों एवं कॉलेजों, उद्योगों, एमएसएमई संस्थानों, स्टार्टअप इवेंट्स आदि में बताया जाएगा कि इस नीति के तहत क्या किया जाना चाहिए। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग की जिम्मेदारी इस दिशा में ज्यादा होगी।
इस नीति का उद्देश्य है कि हिमाचल प्रदेश में जो लोग रिसर्च वर्क में लगे हैं वो अपनी सबसे बेहतरीन और अलग चीजों को सामने लाएं और उनका पेटेंट करें, ताकि हिमाचल का भी नाम ऊंचा हो। यहां तक की स्कूल, कॉलेज व विश्वविद्यालयों में भी बच्चों को इस दिशा में प्रोत्साहित करने के लिए विशेष काम किए जाएंगे। उनको इस संबंध में प्रिंटिंग मैटिरियल भी दिया जाएगा। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग को प्रदेश में पेटेंट इन्फॉर्मेशन सेंटर भी इस नीति के तहत बनाना होगा, ताकि लोगों को आसानी हो और सरलता से लोग अपने आविष्कार का पेटेंट करवा सकें। आईपीएस को-ऑर्डिनेशन सैल यहां पर बनाया जाएगा, जो स्टेट लेवल इन्नोवेशन के प्रबंधन व समन्वय की जिम्मेदारी संभालेगा। कई सुविधाएं इस पॉलिसी के तहत सरकार अब आने वाले समय में रिसर्च डिवेलपर्ज को देने वाली है। मुख्य सचिव की ओर से विज्ञान एवं प्रोद्योगिकी विभाग ने अधिसूचना जारी की है, जो तत्काल प्रभाव से लागू मानी जाएगी।