Shimla: नशे की हालत में वाहन चलाने वाला आत्मघाती हमलावर से कम नही ddnewsportal.com

Shimla: नशे की हालत में वाहन चलाने वाला आत्मघाती हमलावर से कम नही  ddnewsportal.com
फाइल फोटो: नरवीर सिंह राठौर, एडिश्नल एसपी ट्रैफिक शिमला।

Shimla: नशे की हालत में वाहन चलाने वाला आत्मघाती हमलावर से कम नही

एएसपी राठौर बोले; दुर्घटना पर हो सकती है उम्र कैद और जुर्माना 

बाॅडी वार्न कैमरे से होगी उच्च स्तरीय ट्रैकिंग और निगरानी

नशे की हालत में वाहन चलाने वाले, किसी 'आत्मघाती हमलावर' से कम नहीं होते। शराब पीकर गाड़ी चलाना न केवल एक निर्धारित अपराध है बल्कि एक गंभीर सामाजिक खतरा भी है। एएसपी ट्रैफिक शिमला नरवीर सिंह राठौर ने बताया कि शराब पीकर वाहन चलाने वाला व्यक्ति न केवल अपनी जान जोखिम में डालता है बल्कि सड़कों पर दूसरों के जीवन के साथ भी खिलवाड़ करता है। ऐसे हादसों का परिणाम निर्दोष सड़क उपयोगकर्ताओं और उनके परिवारों और यहां तक ​​कि चालक के परिवारों पर भी पड़ता है।

उन्होंने कहा कि आईपीसी की धारा 304-एए के अंतर्गत नशे की हालत में सार्वजनिक सेवा वाहन चलाकर किसी की मौत या चोट का कारण बनता है। जो कोई भी, नशे की स्थिति में, वाहन चलाता है या चलाने का प्रयास करता है और किसी ऐसे व्यक्ति की मौत का कारण बनता है जो गैर-इरादतन हत्या की श्रेणी में नहीं आता है, या किसी भी शारीरिक चोट का कारण बनता है जिससे मृत्यु होने की संभावना है, उसे आजीवन कारावास, या दोनों में से किसी भी विवरण के कारावास से दंडित किया जाएगा, जिसे सात साल तक बढ़ाया जा सकता है, और जुर्माने के लिए भी उत्तरदायी होगा। इसलिए नशे की हालत में कभी भी वाहन न चलायें। 

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बाॅडी वार्न कैमरा के फायदे...

राठौर ने कहा कि बाॅडी वार्न कैमरा की योजना यानि शरीर में पहने जाने वाले कैमरों से जहां एक डिजिटल साक्ष्य प्रबंधन समाधान की शुरुआत होगी वहीं यह हिमाचल प्रदेश राज्य में पुलिसिंग क्षमता में काफी वृद्धि करेगा। इससे उच्च स्तरीय ट्रैकिंग और निगरानी होगी और साथ ही पुलिस को झूठे आरोपों से भी बचाएगी।