शिमला: हाइकोर्ट से हाटी समुदाय के लिए एक सुखद फैसला, बोबी देवी की याचिका पर बड़ा निर्णय... ddnewsportal.com

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शिमला: हाइकोर्ट से हाटी समुदाय के लिए एक सुखद फैसला, बोबी देवी की याचिका पर बड़ा निर्णय...

जिला सिरमौर के गिरिपार क्षेत्र के हाटी समुदाय के लिए हिमाचल प्रदेश के माननीय उच्च न्यायालय शिमला द्वारा एक खुशी और राहत भरा निर्णय दिया गया है। गिरिपार क्षेत्र में बागना गांव की निवासी बोबी देवी (विवाहित गांव माशू) ने हिमाचल सरकार  द्वारा हिन्दी प्रवक्ता के लिए जारी की गई भर्तियों में अनुसूचित जनजाति के उम्मीदवार के रूप में आवेदन करने के लिए उच्च न्यायालय द्वारा अनुमति प्रदान की गई है।


गिरिपार क्षेत्र के मूल निवासियों को केंद्र सरकार से अनुसूचित जनजाति का दर्जा मिलने की गजट अधिसूचना 4 अगस्त को जारी हो चुकी है, लेकिन हिमाचल सरकार द्वारा अभी तक जनजाति प्रमाणपत्र जारी करने की प्रक्रिया आरम्भ नहीं हो पाई है। उसी को आधार बनाकर केंद्रीय हाटी समिति के सहयोग से बोबी देवी ने हि०प्र० उच्च न्यायालय में याचिका (केस नंबर 8772) दायर की थी, जिसकी सुनवाई करते हुए शुक्रवार 10 नवंबर को माननीय उच्च न्यायालय ने सुनवाई के बाद अपना निर्णय दिया है। बोबी देवी की ओर से तीन वकीलों- विनोद चौहान (निवासी बनोर) सुनील मोहन गोयल और पारस दौल्टा द्वारा

प्रमाणों और तथ्यों के साथ पक्ष रखा गया। जिस पर माननीय उच्च न्यायालय ने हिमाचल सरकार को बोबी देवी के लिए अनुसूचित जनजाति उम्मीदवार के रूप में अनुमति देने के लिए आदेश जारी किए गए। इस निर्णय से अन्य विभागों की भर्तियों के लिए भी हाटी युवाओं को नौकरियों में जनजाति के आधार पर आवेदन करने की मान्यता प्राप्त करने का मार्ग प्रशस्त हो गया है। लेकिन उम्मीदवारों को व्यक्तिगत या समूह के रूप में उच्च न्यायालय में याचिका देनी होगी। इस निर्णय पर केंद्रीय हाटी समिति ने खुशी जताई है। समिति के अध्यक्ष डाॅ अमीचंद कमल और महासचिव कुंदन सिंह शास्त्री ने माननीय उच्च न्यायालय का इस फैसले के लिए धन्यवाद किया है। 

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