शिक्षा का गला घोंट देगा स्कूल फीस बिल- ddnewsportal.com

शिक्षा का गला घोंट देगा स्कूल फीस बिल- ddnewsportal.com

शिक्षा का गला घोंट देगा स्कूल फीस बिल

इंडिपेंडेंट स्कूल एसोसिएशन ने किया बिल का विरोध, हर जिला मुख्यालय से मुख्यमंत्री सहित शिक्षा मंत्री को भेजी आपत्तियाँ।

इंडिपेंडेंट स्कूल एसोसिएशन हिमाचल प्रदेश व अन्य स्कूल एसोसिएशन ने पूरे प्रदेश में सरकार के स्कूल फीस बिल के विरोध में हर ज़िला मुख्यालय पर अपनी अपनी आपत्तियाँ  मुख्यमंत्री, शिक्षा मन्त्री व निदेशक उच्च शिक्षा को हर ज़िला के ज़िलाधीश व उप शिक्षा निदेशक को भेजने के लिये एकत्रित हुए। निजी स्कूल संचालकों का कहना है कि स्कूल फीस बिल शिक्षा का गला घोटने का काम करेगा। यह बिल असंवैधानिक है क्योंकि TMA pai केस में माननीय सर्वोच्च न्यायालय ने कहा है कि निजी गैर सहायता पर्याप्त स्कूलों की फीस को सरकार नियंत्रित नही कर सकती। हर स्कूल अपनी-अपनी सुविधाओं के आधार पर फीस लेता है। माननीय उच्च न्यायलय हिमाचल प्रदेश ने भी दिनाक 24 अगस्त 2020 के फैसले मे भी स्कूलों की स्वतंत्रता को बरकरार रखा है। अगर सरकार यह बिल लाती है तो लगभग सभी स्कूल बंद हो जाएंगे और कुछ बन्द भी हो गये हैं। इस स्थिति में हम स्कूल नही चला पायंगे। सरकार फीस में केवल हर साल 6 प्रतिशत बढ़ाने की बात कर रही है जबकि अन्य वस्तुओं के दाम 15 से 20 प्रतिशत हर साल बढ़ रहे है व पेट्रोल व डीजल के दाम 30% तक बढ़ रहे हैं। बिना फीस के निजी स्कूल नही चल सकते जबकि स्कूलों के अन्ये खर्चे भी हैं जिसमे नई तकनीको को ले कर आना, स्कूलों को नया सामान नई तकनीक से बढ़िया शिक्षा देना इत्यादि शामिल है। कोरोना काल मे भी ऑनलाइन शिक्षा देना भी हमारे लिये एक

बहुत बडी चुनौती थी। जिससे हमारे अध्यापकों ने इस चुनौती का मुकाबला करके बेहतर शिक्षा दी है। हिमाचल प्रदेश इंडिपेंडेंट स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ गुलशन कुमार ने कहा है कि उनका अभिभावकों से भी निवेदन है कि गुणवत्ता की शिक्षा के लिये आपको पैसा ख़र्च करना पड़ेगा अन्यथा फिर सरकारी स्कूलों में ही जाना पड़ेगा। क्योंकि निजी स्कूल बंद होंगे और 3 लाख के करीब अध्यापक सड़कों पर होंगे, लगभग 6 लाख बच्चों को सरकारी स्कूलों मे बैठने की जगह नहीं होगी तो शिक्षा का क्या होगा। हम सब मिलकर

शिक्षा को और भी अच्छा बनाने के लिये आधुनिक शिक्षा प्रणाली को अपनाए और अपने बच्चों का भविष्य उज्जवल बनाने के लिए निजी स्कूलों को प्रोसाहित करे औऱ गुरु और शिष्य की गरिमा को कायम रखते हुए स्कूल प्रबंधन व अभिभावकों  के बीच ऐसा वातावरण ना बनाये जिससे बच्चों का भबिष्य खराब हो। सरकार से भी अनुरोध है की निजी स्कूलों को प्रोसाहित करे और हिमाचल प्रदेश में शिक्षा का केन्द्र बनाकर रोजगार को बढ़ावा दें ताकि नोजवानों को नौकरी के लिए न भागना पड़े और हिमाचल शिक्षा में नया कीर्तिमान स्थापित करे।