Paonta Sahib: अढाई वर्ष के कार्यकाल में पेंशनर्स पूरी तरह निराश, सरकार की विश्वसनीयता पर उठाये सवाल ddnewsportal.com

Paonta Sahib: अढाई वर्ष के कार्यकाल में पेंशनर्स पूरी तरह निराश, सरकार की विश्वसनीयता पर उठाये सवाल
पेंशनर्स वैलफेयर एसोसिएशन पाँवटा साहिब की बैठक डॉ विपन कालिया की अध्यक्षता में संपन्न हुई। बैठक की जानकारी देते हुए महासचिव डॉ टी पी सिंह ने बताया कि बैठक में विभिन्न विषयों पर चर्चा हुई। सर्वप्रथम पिछले कुछ दिनों में बादल फटने व अधिक वर्षा के कारण जो जान माल की हानि हुई उस पर संवेदना व्यक्त की गई व जिन व्यक्तियों ने अपना जीवन खोया उनकी आत्मा की शान्ति की कामना की गई।
एसोसिएशन ने चिर लम्बित मांगो के बारे फिर गहन चर्चा की गई। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह ने जो मंहगाई भत्ते की एक किस्त जारी करने की घोषणा की थी, जिसका बजट भाषण में भी उल्लेख किया था उसका आदेश अभी तक लम्बित है। पेंशनर्स को 55% मंहगाई भत्ते के स्थान पर 42% ही मिल रहा है। 4+4+3+2 % की चार किस्त व 21-21 माह की 2 किस्तों का 4% का देय भी लम्बित है।
फिक्स चिकित्सा भत्ता पंजाब पद्दति पर 1000 रुपये के स्थान पर 400 रुपए मिल रहा है जो कि न्याय संगत नहीं है। चिकित्सा बिलों के भुगतान भी बजट की अनुपलब्धता के कारण लम्बित पड़े हैं। इस बारे घोषणा तो कितनी बार हो चुकी है परन्तु बजट प्रावधान नहीं किया है इससे सरकार की विश्वसनीयता पर सवाल उठने आवश्यक है। सरकार ने अपने इस अढाई वर्ष के कार्य काल में पेंशनर्स को पूर्ण निराश किया है। 1-1 -2016 के उपरांत सेवानिवृत्त वाले पेंशनर्स के लिए तो यह सरकार पूर्ण असंवेदनशील बनी हुई है तथा उनकी देय राशि अभी तक लम्बित है।
इसे अतिरिक्त बैठक मे सामाजिक मुद्दों पर भी चर्चा हुई। जिसमे इस वर्ष भी वर्षा ऋतु में पौधारोपण कार्यक्रम आयोजित करने पर सहमति बनी। सदस्यों से आग्रह किया गया कि वें उपयुक्त स्थान का पता लगाएं।
यह देखने में आ रहा है कि राष्ट्रीय राजमार्ग के किनारे गंदगी के ढेर लग रहे हैं जो कि विशेष रूप में वर्षा ऋतु में बिमारी का कारण बनते हैं। नगर परिषद को इस विषय में अधिक जागरूक होना चाहिए। स्टेट बैंक तारुवाला व सीनियर सेकेंडरी कन्या स्कूल के साथ गंदगी के ढेर लगे रहते हैं। बद्रीपुर, महाराणा प्रताप व विश्वकर्मा चौक पर शौचालय की उपलब्धता पर नगर परिषद को पत्र भी लिखे गए हैं परंतु सार्थक परिणाम नहीं मिले।
बैठक में अध्यक्ष डॉ विपन कालिया, महासचिव टी पी सिंह, शान्ति स्वरूप गुप्ता, किशन लाल चौधरी, एन एस सैनी, वी सी छिब्बर, जितेन्द्र दत्त, यशपाल सिंह, सतपाल सिंह, लखबीर सिंह, वाई के जमवाल, सुधा कालिया, बी एस नेगी, एन डी सरीन, पी एन गुप्ता, डॉ राकेश बेदी व वी पी चौधरी आदि मौजूद रहे।