किसी को झुकाना नही बल्कि सम्मान बचाना है- ddnewsportal.com
किसी को झुकाना नही बल्कि सम्मान बचाना है
हिमाचल प्रदेश शिक्षक महासंघ ने की मुख्यमंत्री की शालीनता की तारीफ, सहयोग के लिए शिक्षक साथियों का जताया आभार।
हिमाचल प्रदेश शिक्षक महासंघ के प्रांत उपाध्यक्ष डाॅ मामराज पुंडीर ने कहा कि एक कॉलेज का विद्यार्थी जब मुख्यमंत्री को फोन कर रहा होगा तो उसके मन मे क्या चल रहा होगा। हम सब समझ सकते है। मुख्यमंत्री ने कितनी शालीनता से उस लड़के की बातों को सुना और उस बच्चे से बात की। हम हमेशा से ही कहते आये है कि प्रदेश का नेतृत्व एक ऐसे इंसान के हाथ मे है
जिनकी शालीनता के कायल प्रदेशवासी ही नही, अपितु पूरा देश है। जिस आत्मीयता से वह आम जनमानस की फरियाद सुन्नते है, उससे हम कह सकते है कि हिमाचल प्रदेश में एक नया इतिहास लिखने की कवायद शुरू हो गई है। यही वजय है कि कई मंत्रियों के पास जाने से ज्यादा सरल मुख्यमंत्री के पास जाना है। शिक्षक वर्ग किसी को न झुकाना चाहता था न आगे ऐसी इच्छा है। बस सम्मान को बचाना चाहते थे। मुख्यमंत्री की सार्थक पहल और मंत्री ने अपने शब्दों पर मंथन कर एक सम्मानपूर्ण रास्ता निकाल दिया। प्रदेश
के यशस्वी मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की मध्यस्थता से शिक्षकों के प्रति विवादास्पद और हास्यास्पद विवाद को आपसी समझ से सुलझाने के लिए और शिक्षक वर्ग की मान सम्मान की गरिमा को बनाए रखने के लिए हम हार्दिक आभार प्रकट करते हैं। जल शक्ति मंत्री ने भी अपना बयान वापिस लेकर आत्म चिंतन किया है, इसके साथ साथ हम शिक्षक वर्ग इतने भी अहंकारी नही कि किसी को अपने आगे झुकाए और क्षमा मंगवाए। शिक्षक, माता-पिता और गुरु हमेशा ही क्षमाशील होता है, लेकिन यह विवाद गुरु की गरिमा का था ना की किसी व्यक्तिगत शिक्षक का, आने वाले भविष्य में भी, जिस प्रकार इस मुद्दे को शिक्षक संगठनों ने इस विवाद पर डफली बजा कर डंके का रूप दिया, उनका भी हार्दिक आभार व्यक्त करते है। प्रदेश के माननीय समाज के लोगों, सामाजिक सगठनों और मीडिया का भी हार्दिक आभार, जो शिक्षक के सम्मान के लिए आगे आया। हमें इसी प्रकार अलग-अलग शिक्षक संगठनों को एक होकर अपनी अपनी डफली का डंका बनाना होगा। अपनी शिक्षक एकता दर्शानी चाहिए। अब हम इस विवाद को यहीं पर भूल जाते हैं, जिससे हमें क्षमाशील होने का गौरव प्राप्त हो सके। अंत में हम सिर्फ इतना आग्रह सभी शिक्षक बन्दुओ, समाज सेवको और मीडिया के सभी साथियों का आभार व्यक्त करता हूँ जिन्होंने इस विषय पर इक्कठे हो कर आवाज उठाने में सहयोग दिया। आगे दे कभी भी शिक्षकों के सम्मान को ठेस पहुंचाने का हक हम किसी को नही देंगे।