Paonta Sahib: पैंशनर्स ने सरकार से उठाई अपनी मांगे ddnewsportal.com
Paonta Sahib: पैंशनर्स ने सरकार से उठाई अपनी मांगे
मंहगाई भत्ते का अप्रैल माह की पैंशन न जुड़ने पर रोश, शहर की दिक्कतों पर भी मंथन
पैंशनर्स वैलफेयर एसोसिएशन पांवटा साहिब की बैठक सुन्दर लाल मेहता की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। महासचिव डॉ टी पी सिंह ने बताया कि बैठक में विभिन्न मुद्दों पर चर्चा हुई। जिसमे विशेष रूप से सरकार ने 3% मंहगाई भत्ते की घोषणा हिमाचल दिवस पर की तथा अप्रैल की पैंशन में जोड़ने की अधिसूचना 27-4-23 को की, जिसके कारण भत्ता अप्रैल माह में नही जुड़ पाया। अब मई माह की पैंशन में भत्ता जुड़ने का इन्तजार रहेगा। 11% देय भत्ते में से 3% जारी करना पैंशनर्स के साथ अन्याय है।
छठे वेतन आयोग को, जो फरवरी 2022 में अधिसूचित किया था, उसे 2016 के उपरांत सेवा निवर्ति वाले पैंशनर्स को कुछ भी नही मिला है तथा 2016 के पूर्व सेवा निवर्ति वाले पैंशनर्स को केवल 20% मिला है, वह भी सीमित राशि तक ही जारी किया गया है। तथा शेष देय राशी का इन्तजार किया जा रहा है।
2016 के पूर्व सेवा निवर्ति वाले पैंशनर्स को 8-9-2022 की अधिसूचना अनुसार थोड़ा फायदा होना था उस के केस महिलेखाकार कार्यालय में लम्बित हैं। जिसमें सरकार कुछ नहीं कर रही है इससे पैंशनर्स में काफी निराशा है।
पिछली सरकार ने अक्तूबर 2022 से आयु भत्ता संशोधित पैंशन पर दिया था जो की मूल पैंशन पर पंजाब पद्धति पर दिये जाने की मुख्य मांग थी तथा आशा थी कि नयी सरकार इस विषय पर सकारात्मक कार्यवाही करेगी, परन्तु सरकार किसी भी मांग को पूर्ण नहीं कर रही है। चिकित्सा भत्ता पंजाब पद्धति पर 1000/- प्रति माह करने व चिकित्सा बिलों की समयबद्ध अदायगी की ओर भी सरकार उदासीन प्रतीत हो रही है। सरकार बार बार यही कह रही है कि पिछली सरकार ने देय राशी नहीं दी जो अभी तक इस सरकार ने भी नहीं दी है, फिर क्या व्यवस्था परिवर्तन हुआ है।
अभी तक सरकार की कार्य प्रणाली पैंशनर्स के हित में प्रतीत नहीं हो रही है।
इसके अलावा शहर की समस्याओं पर चर्चा हुई। बांगरण चौक पर रोज सवेरे बहुत लेबर इकट्ठा होती है, जिससे उस एरिया में चोरियां बहुत होती है व वहां के लोगो को बहुत परेशानी होती है। गन्दगी बहुत करते है व दीवारों पर पान थूकते है इसलिए इनके खड़ा होने की जगह पुलिस स्टेशन ग्राउंड में कर दी जाए। बैठक में सुन्दर लाल मेहता, डा टी पी सिंह, लखबीर सिंह, बी एस नेगी, रणजीत सिंह धीमान, एन एस सैनी, इन्द्र पाल सिंह वालिया, नन्दलाल, एन डी सरीन, शान्ति स्वरूप गुप्ता, विजय पाल चौधरी, मदन सिंह परमार, रविन्द्र कुमार ठाकुर, भजन सिंह बैंस, पी एन गुप्ता, जितेन्द्र दत्त, वाई के जमवाल, सतपाल सिंह, ज्ञान चन्द शर्मा, सुशील कुमार, प्रीतो देवी आदि मौजूद रहे।